भारत का हर कोना अपनी अलग पहचान रखता है, लेकिन सभी में एक चीज़ समान रहती है‑सांस्कृतिक धरोहर। इस पेज पर हम आपको रोज़मर्रा की संस्कृति से लेकर बड़े‑बड़े त्योहार तक सब कुछ सरल भाषा में देंगे, ताकि आप जल्दी समझ सकें कि कौन-सा कार्यक्रम कब मनाया जाएगा और उसकी पृष्ठभूमि क्या है।
हाल ही में दिल्ली में ‘रंगोली महोत्सव’ का आयोजन हुआ, जिसमें स्थानीय कलाकारों ने रंग‑बिरंगी डिज़ाइन बनाए। इसी तरह कोलकाता के पावस के दिन ‘डाकिनी उत्सव’ की धूम देखी गई। अगर आप इन कार्यक्रमों की तस्वीरें और विस्तृत रिपोर्ट चाहते हैं तो नीचे दिए गए लेखों पर क्लिक करें—हर खबर में हमने मुख्य आकर्षण, तारीख‑समय और भाग लेने वाले कलाकारों का उल्लेख किया है।
दुर्गा पूजा, दीपावली या होली‑जो भी आपका पसंदीदा त्योहार हो‑इन्हें सही ढंग से मनाने के लिए पहले से योजना बनानी चाहिए। हमने हर प्रमुख त्योहार के लिये एक छोटा‑छोटा चेक‑लिस्ट तैयार किया है: कौन‑सी वस्तु खरीदनी है, कब सजावट शुरू करनी है और क्या विशेष पकवान बनाने हैं। इस तरह की जानकारी आपको हमारे ‘त्योहार गाइड’ सेक्शन में मिल जाएगी, जहाँ हम हर त्योहार को आसान शब्दों में समझाते हैं।
भूले नहीं कि भारतीय संस्कृति सिर्फ बड़े‑बड़े कार्यक्रम तक सीमित नहीं है। रोज़मर्रा के छोटे‑छोटे रिवाज़ जैसे नमस्ते करना, दाल–चावल परोसे जाना या परिवार के साथ मिलकर सुबह की प्रार्थना भी इस धरोहर का हिस्सा हैं। हमने इन दैनिक आदतों को एक अलग श्रेणी में रखा है, जहाँ आप पढ़ सकते हैं कि कैसे छोटे‑छोटे कदम आपके जीवन में सकारात्मक बदलाव ला सकते हैं।
यदि आप भारतीय कला और हस्तशिल्प की बात करें तो यहाँ कई लेख मौजूद हैं जो राजस्थान के ब्लू पॉटरी से लेकर दक्षिण भारत की बंधनी तक की कहानी बताते हैं। प्रत्येक लेख में सामग्री, निर्माण प्रक्रिया और खरीदने का सही तरीका बताया गया है—ताकि आप बिना झंझट के असली शिल्पकारों से जुड़ सकें।
सबसे आख़िर में, इस पेज को बुकमार्क करना न भूलें। हम हर दिन नई जानकारी जोड़ते रहते हैं, चाहे वह फिल्म‑संगीत की रिव्यू हो या किसी छोटे शहर के लोकगीत का परिचय। आपके सवालों के जवाब भी कमेंट सेक्शन में देते हैं, इसलिए पढ़ते समय यदि कोई बात स्पष्ट नहीं हुई तो पूछिए—हम जल्द से जल्द उत्तर देंगे।
तो तैयार रहें, क्योंकि भारतीय संस्कृति की दुनिया हमेशा कुछ नया पेश करती रहती है। यहाँ हर खबर, हर गाइड और हर टिप्स आपके लिये सरल, तेज़ और भरोसेमंद तरीके से उपलब्ध हैं। पढ़ते रहिए, सीखते रहिए, और इस धरोहर को साथ मिलकर आगे बढ़ाइए।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्वामी विवेकानंद की 122वीं पुण्यतिथि पर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की। मोदी ने X पर स्वामी विवेकानंद के उपदेशों को लाखों लोगों के लिए प्रेरणा का स्रोत बताया। उन्होंने विवेकानंद की ज्ञान और निष्ठा की प्रशंसा करते हुए उनके सपनों के भारत निर्मित करने का संकल्प दोहराया। स्वामी विवेकानंद भारतीय संस्कृति के प्रचारक थे, जिन्होंने ब्रह्मविद्या को पश्चिमी देशों में भी फैलाया।